ज़री एक प्रकार का धागा है जो पारंपरिक रूप से सोने या चांदी से बना होता है एवं जिसका इस्तेमाल पारंपरिक वस्त्रों पर, विशेष रूप से साड़ी पर कढ़ाई का कार्य किये जाने हेतु होता है। ऐसा माना जाता है कि इस चलन की शुरुआत मुगल काल में हुई थी एवं भारतीयों का इस शिल्प को बढ़ावा देने में खास योगदान रहा है। वर्तमान में ज्यादातर वस्त्रों पर, मुख्य रूप से ज़री पर कपास या पॉलिएस्टर यार्न होता है, जिसके धागे पर सोने/चांदी धातु लपेटा जाता है। जिले में वर्तमान में लगभग 400 बुनकर सिल्क साड़ी को बनाने में संलिप्त हैं। ये कढ़ाईदार साड़ियां विश्व स्तर पर अपनी उत्तम डिजाइन एवं सुंदरता के लिए प्रख्यात हैं। इन्हें देश के प्रमुख शहरों में बेचने के लिए निर्यात किया जाता है। इस जिले में लगभग 5000 सूती एवं सिल्क साड़ी का वार्षिक उत्पादन किया जाता है।
ललितपुर जिला उत्तर प्रदेश का एक प्रमुख जिला है। यहां का भौगोलिक क्षेत्र 5,039 वर्ग किमी है। यह जिला उत्तर प्रदेश के झांसी जिले से उत्तर पूर्वी दिशा में एक सकरे कॉरीडोर से जुड़ा हुआ है, इसके पूर्व में टीकमगढ़ जिला पड़ता है, दक्षिण में सागर जिला एवं पश्चिम में अशोकनगर एवं शिवपुरी जिला पड़ते हैं। क्षेत्र में निर्माण के दृष्टिकोण से खनिज की उपलब्धता पर्याप्त रूप से मौजूद है। इसके साथ ही जिला ललितपुर में कंक्रीट पत्थर और ग्रेनाइट पत्थर भी देखने को मिलते हैं। इनका इस्तेमाल ज्यादातर भवन निर्माण आदि के लिए किया जाता है। जिले का कुल वनीय क्षेत्र 76160 हेक्टेयर है।
तहसील
ब्लॉक
ग्राम
लघु उद्योग
मुख्य उद्योग
---
ओमनीनेट द्वारा संचालित